गुरुवार, 26 अगस्त 2010

हमने तुमको याद किया .....

(कहते हैं जब दो दिल का मिलना हो तो इत्तफाक ही सही मिलते जरूर हैं.....कभी किसी को दिल से याद करो और उसी दरम्यान याद आने वाला शख्स तुम्हें याद करे तो ........)

तुम्हारी यादों से निकल कर
कुछ दूर तलक चले ही थे हम
और तुम्हारी परछाई ने
फिर वापस आने को मजबूर किया
तुम्हें भूलकर दो कदम निकले ही थे हम
और फिर हमारे दिल ने लौटने पर मजबूर किया.........................

3 टिप्‍पणियां:

Udan Tashtari ने कहा…

सही है!

Mithilesh dubey ने कहा…

बहुत खूब लगी अभिव्यक्ति ।

arvind ने कहा…

bahut sundar rachna.